नई दिल्ली में एक रैली में सेना की वर्दी पहनने को लेकर आलोचनाओं का सामना कर रहे प्रदेश भाजपा प्रमुख मनोज तिवारी ने कहा कि यह वर्दी नहीं थी बल्कि एक कमीज थी तथा सेना का रंग पहनना उनके लिए गर्व की बात है। उन्होंने कहा कि उनके पास ऐसी ‘दस कमीजें’ हैं और वह हर सुबह सेना की कमीज पहनकर सैर के लिए जाते हैं। उन्होंने कहा कि वह जल्द ही एक रैली निकालने वाले हैं, जिसमें सभी प्रतिभागी वर्दी पहनने वाले है। तिवारी की अपनी उत्तर पूर्व दिल्ली संसदीय सीट में भाजपा की बाइक रैली में सेना की तरह की कमीज पहनने को लेकर आलोचना की जा रही है।
भाजपा नेता ने कहा, मेरे लिए सेना के रंग के कपड़े पहनना गर्व की बात है। जब भी मैं खुश होता हूं या किसी बहादुर व्यक्ति को सम्मान देना होता है तो मैं इसतरह कपड़े पहनता हूं। सोशल मीडिया पर कई यूजर्स और तृणमूल कांग्रेस के सांसद डेरेक ओ’ब्रायन ने तिवारी की आलोचना करते हुए उन पर सेना की वर्दी पहनकर वोट मांगने का आरोप लगाया। तिवारी ने कहा कि वह स्वतंत्रता दिवस और गणतंत्र दिवस पर अर्द्धसैन्य और सेना की शाखाओं में गए थे जहां उन्हें टोपियां और ऐसी चीजें उपहार में दी गई। वहीं अरविंद केजरीवाल के मीडिया सलाहकार नागेंद्र शर्मा ने बताया कि सेना की वर्दी पहनकर तिवारी ने आईपीसी की धारा 171 के तहत एक अपराध किया है। दिल्ली भाजपा अध्यक्ष और सांसद मनोज तिवारी ने सेना की वर्दी पहनकर आईपीसी की धारा 171 के तहत साफ तौर पर अपराध किया है। 2016 के पठानकोट हमले के बाद सेना ने आगाह किया था कि जो भी नागरिक उसकी वर्दी पहनेगा उस कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा।
नेशन
मनोज तिवारी ने पहनी सेना की वर्दी, विरोधी नेताओं ने किया विरोध