YUV News Logo
YuvNews
Open in the YuvNews app
OPEN

फ़्लैश न्यूज़

नेशन साइंस & टेक्नोलॉजी

 सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर सामान की ब्रिकी को रेग्युलेट कर सकती सरकार 

 सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर सामान की ब्रिकी को रेग्युलेट कर सकती सरकार 

 सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर सामान की ब्रिकी को रेग्युलेट कर सकती सरकार 
मोदी सरकार सरकार फेसबुक, इंस्टाग्राम, पिंट्रेस्ट और यहां तक कि वॉट्सएप पर सामान की बिक्री को ई-कॉमर्स पोर्टल्स पर कंज्यूमर प्रोटेक्शन नियम के द्वारा रेग्युलेट कर सकती है। सूत्रों ने बताया कि ये नियम जल्द आने वाले हैं। नेशनल कंज्यूमर हेल्पलाइन और अन्य पोर्टल्स पर मार्केट प्लेस पर बेचे जाने वाले सामान को लेकर ग्राहकों की काफी शिकायतें लगातार मिल रही हैं। अधिकारियों ने बताया कि यह कदम सरकार के द्वारा उन्हें ध्यान में रखकर उठाया जा रहा है। भारत में फेसबुक मार्केट प्लेस, इंस्टाग्राम के शॉपेबल पोस्ट और वॉट्सएप बिजनस की लोकप्रियता बढ़ रही है। इस देखकर कंपनी मामलों का मंत्रालय ई-कॉमर्स वेबसाइट और एप के लिए आगामी नियमों के दायरे में इन्हें भी लाने की सोच रहा है। 
सूत्र ने बताया, सोशल नेटवर्क पर आज बड़े पैमाने पर सामान और सेवाओं की बिक्री हो रही है। वे पी2पी (पीपल टू पीपल) और कुछ ब्रैंड्स स्टोरफ्रंट्स के जरिए सीधे लोगों को सामान बेच रहे हैं। उन्हें वहीं नियम मानना होगा,जो अन्य मार्केट प्लेस और ई-कॉमर्स वेबसाइट्स पर लागू होगा। इसकारण प्लैटफॉर्म्स के रेग्युलेशन की सरकार को जरूरत इसलिए महसूस हो रही है क्योंकि इनसे जुड़े फ्रॉड के मामले बढ़ रहे हैं। सोशल नेटवर्क्स पर मार्केट प्लेस अन्य क्लासिफाइड और सोशल सेलिंग वेबसाइट की तरह होते हैं,लेकिन उनकी व्यापक पहुंच को देखकर वे फर्जीवाड़ा करने वालों का निशाना बन गए हैं। इंस्टैंट मैसेजिंग एप वॉट्सएप के भारत में 40 करोड़ यूजर्स हैं। इसकी मालिक फेसबुक के भारतीय यूजर्स की संख्या 25 करोड़ है। इन दोनों के लिए भारत सबसे बड़ा बाजार है। कहा जा रहा है कि इंस्टाग्राम के लिए भारत दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा बाजार है। इंस्टाग्राम भी फेसबुक की इकाई है। अधिकारियों का कहना है कि इन नियमों से ई-कॉमर्स और सोशल नेटवर्क्स पर ऑनलाइन फ्रॉड की आधी समस्या ही सुलझेगी। कई ऑनलाइन स्कैम पी2पी सेलिंग प्लैटफॉर्म पर शुरू होकर वॉट्सऐप,टेलिग्राम जैसे मैसेजिंग एप पर पहुंच जाते हैं। अधिकारियों का कहना है कि इन प्लैटफॉर्म्स को वे ट्रैक नहीं कर सकते।

Related Posts