अमेरिका की अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने 10 साल पहले केपलर अंतरिक्ष टेलीस्कोप लॉन्च किया था। जिसके द्वारा खोजे गए पहले गैर-सौरीय (सौरमंडल के बाहर स्थित) ग्रह के सच में मौजूद होने की पुष्टि हुई है। अमेरिका की यूनिवर्सिटी ऑफ हवाई के अनुसंधानकर्ताओं ने बताया कि केपलर-1658 बी के तौर पर पहचाना जाने वाला यह बाहरी ग्रह विशाल गर्म बृहस्पति ग्रह के समान है, जो हर 3.85 दिन में अपने सूर्य के इर्द-गिर्द घूमता है। उन्होंने बताया कि सतह से यह ग्रह हमारे सूर्य के व्यास से 60 गुणा ज्यादा बड़ा मालूम होता है। बता दें कि केपलर 2009 में लॉन्च किए जाने के बाद से पारगमन विधि के माध्यम से हजारों बाहरी ग्रहों की खोज कर चुका है। इस तरीके में किसी ग्रह के सामने से गुजरने के दौरान सितारे की चमक में आई मामूली कमी को दर्ज किया जाता है। एस्ट्रोनॉमिकल मैग्जीन में प्रकाशित अध्ययन के अनुसार अन्य वस्तुएं इस तरीके की नकल कर सकती हैं, इसलिए केपलर डेटा ग्रहों जैसे लगने वाली वस्तुओं की पहचान करता है, लेकिन उन्हें सचमुच ग्रह साबित करने के लिए और अधिक विश्लेषण करना होता है। केपलर द्वारा 2011 में खोजा गया पहला ग्रह होने के बावजूद केपलर-1658 बी की पुष्टि की राह बहुत मुश्किल भरी रही। अनुसंधानकर्ताओं का कहना है कि यह ग्रह सूर्य से तीन गुणा ज्यादा बड़ा और 50 प्रतिशत ज्यादा विशाल है।