
सभी लोगों के घर में भगवान की प्रतिमाएं अथवा चित्र मौजूद होते हैं। परन्तु क्या आप जानते हैं कि भगवान के सभी चित्र अथवा प्रतिमाएं घरों में लगाना शुभ नहीं होता। कुछ चित्र अथवा प्रतिमाएं ऐसी भी होती हैं जिन्हें घर में लगाना और उनके दर्शन करना आपके लिए दुर्भाग्य का कारण बन सकता है।
- घर के मंदिर में कभी भी भगवान के रौद्र स्वरूप की मूर्ति नहीं लगानी चाहिए। रौद्र प्रतिमा या चित्र को लगाना घर में उग्र ऊर्जा पैदा होने का कारण बनता है। घरों में सदैव भगवान के सौम्य स्वरूप के ही चित्र लगाने चाहिए ताकि जब भी उनके दर्शन हो तो मन में सकारात्मक ऊर्जा आ सकें।
- घर में कभी भी खंडित मूर्ति तथा फटे हुए भगवान के चित्र नहीं रखने चाहिए। इन्हें वास्तु तथा ज्योतिष दोनों में ही अशुभ माना गया है। घर में ऐसे चित्रों का होना भी अनिष्ट का कारण बनता है।
- घर में भगवान की ऐसी प्रतिमा अथवा चित्र भी नहीं होने चाहिए जिसमें वो युद्ध करते हुए या किसी राक्षस को मारते दिखाई दें। यह भी रौद्र स्वरूप ही माना जाता है। ऐसी प्रतिमा या चित्र के दर्शन से भी घर में संकट आते हैं।
- घर में कभी भी भगवान की मूर्ति इस तरह नहीं रखनी चाहिए कि उनकी पीठ दिखाई दें। इसे अशुभ माना जाता है और उस घर में रहने वालों का दुर्भाग्य आता है। इसके अलावा कभी भी पूजा स्थल में एक ही भगवान की दो प्रतिमाएं रखना अच्छा नहीं होता। खास तौर पर जब दोनों आस-पास या आमने-सामने हो। ऐसा होने पर उस घर में गृहक्लेश बना रहता है। सभी सदस्य आपस में एक-दूसरे से लड़ते रहते हैं।