लखनऊ । उत्तर प्रदेश के आठ सौ से अधिक श्रमिकों को लेकर महाराष्ट्र के नासिक से चली पहली विशेष ट्रेन रविवार को सुबह छह बजे राजधानी लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन पहुंची। कोरोना वायरस से संक्रमण की रोकथाम के लिए लागू लॉकडाउन के चलते ये श्रमिक 25 मार्च से नासिक में फंसे हुए थे। देशव्यापी लॉकडाउन के दौरान किसी दूसरे राज्य से प्रवासियों को लेकर उत्तर प्रदेश आने वाली यह पहली ट्रेन है। उधर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रवासी कामगार श्रमिकों के आगमन को देखते हुए निर्देश दिए हैं कि प्रदेश के जिलों में कुल 12 से 15 लाख क्षमता के शेल्टर होम और क्वॉरेंटाइन सेंटर तैयार किए जाएं।
अपर मुख्य सचिव गृह, सूचना अवनीश अवस्थी ने शनिवार को पत्रकार वार्ता में बताया था कि उत्तर प्रदेश के मजदूरों को महाराष्ट्र के नासिक से लेकर आने वाली ट्रेन शनिवार को सुबह करीब साढ़े दस बजे वहां से रवाना हुई थी। उन्होंने बताया था कि महाराष्ट्र और गुजरात में रह रहे उत्तर प्रदेश के मजदूरों को लाने के लिये वहां के अधिकारियों से लगातार बातचीत हो रही है। यह विशेष ट्रेन झांसी तथा कानपुर होते हुये रविवार को सुबह लखनऊ पहुंची।
ट्रेन से उतरे यात्री सोशल डिस्टेसिंग का पालन करते हुये मेडिकल जांच के बाद एक-एक करके स्टेशन से बाहर निकले इस दौरान उन्होंने जल्दबाजी नही दिखाई। स्वास्थ्य जांच पूरी होने के बाद यात्रियों को खाने का एक-एक पैकेट दिया गया और उन्हें अपने-अपने जिलों को जाने वाली बसो में बैठने को कहा गया। उप्र राज्य सड़क परिवहन निगम ने यात्रियों को उनके अपने अपने जिलो में पहुंचाने के लिये रेलवे स्टेशन के बाहर बसों का इंतजाम किया था। उप्र राज्य सड़क परिवहन निगम के क्षेत्रीय प्रबंधक पल्लव बोस ने बताया कि परिवहन निगम ने रेलवे स्टेशन के बाहर 32 बसें लगायी गयीं। यह बसें प्रदेश के विभिन्न जिलों में वहां के यात्रियों को उनके जिलो तक पहुंचायेंगी। उप्र राज्य सड़क परिवहन निगम के प्रबंध निदेशक राजशेखर ने रविवार को जारी एक बयान में कहा कि परिवहन निगम की बसों से 841 यात्रियों को उनके गंतव्य स्थान तक भेजा गया। ज्यादातर यात्री प्रदेश के सिध्दार्थनगर, श्रावस्ती, कन्नौज और बहराइच के है।
बाद में राज्य सरकार के एक प्रवक्ता ने बताया कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रवासी कामगार श्रमिकों के आगमन को देखते हुए निर्देश दिए हैं कि 12 से 15 लाख क्षमता के शेल्टर होम और क्वॉरेंटाइन सेंटर तैयार किए जाएं। यह काम अंतिम चरण में है। उन्होंने निर्देश दिए कि वहां पर शुद्ध पेयजल, स्वच्छता, सुरक्षा और शौचालय की व्यवस्था का ध्यान रखा जाए। मुख्यमंत्री ने कम्युनिटी किचन की व्यवस्था को और सुदृढ़ करने के निर्देश दिए। जिससे हर प्रवासी कामगार श्रमिक को शुद्ध और ताजा भोजन उपलब्ध कराया जा सके। उन्होंने कहा क्वॉरेंटाइन सेंटर में हेल्थ चेकअप के बाद प्रवासी अगर स्वस्थ हैं तो खाद्य सामग्री और भरण पोषण भत्ता उपलब्ध कराकर होम क्वारंटाइन के लिए घर भेजा जाए। अगर किसी कामगार श्रमिक में अस्वस्थता के लक्षण हों तो क्वारंटाइन सेंटर में ही पूरा चेकअप करा कराया जाय। अगर पॉजिटिव है तो आइसोलेशन वार्ड में उसकी व्यवस्था कराई जाए। मुख्यमंत्री ने प्रदेश के सभी जिलो के जिलाधिकारियों, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों और मुख्य चिकित्साधिकारियों एसएसपी और सीएमओ को स्वयं ही क्वारंटाइन सेंटर, शेल्टर होम और कम्युनिटी किचन की व्यवस्थाओं का निरीक्षण करने के लिए कहा है। उन्होंने बताया कि कृषि उत्पादन आयुक्त (एपीसी) की कमेटी को प्रवासी कामगारों, श्रमिकों की स्किलिंग करने 15 लाख लोगों की नौकरी और रोजगार उपलब्ध कराने की व्यवस्था तत्काल करने को कहा गया है।
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नासिक से 800 से अधिक श्रमिकों को लेकर पहली विशेष ट्रेन पहुंची लखनऊ