पटना । बिहार को लेकर पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का सपना आखिरकार पूरा हो गया है। कोसी नदी पर रेल पुल बनकर तैयार हो गया है। रेलवे उत्तर बिहार के दूरस्थ क्षेत्र के लोगों के 86 वर्ष पुराने इस सपने को सच करने जा रहा है। उत्तर बिहार के कोसी महासेतु पर बन रहा रेल पुल जल्द ही राष्ट्र को समर्पित कर दिया जाएगा।
इसकी तैयारी अंतिम चरण में है। विगत 23 जून को इस नवनिर्मित रेल पुल पर पहली बार ट्रेन का सफलता पूर्वक परिचालन किया गया। लगभग 1.9 किलोमीटर लंबे नए कोसी महासेतु सहित 22 किलोमीटर लंबे निर्मली सरायगढ़ रेलखंड का निर्माण वर्ष 2003-04 में शुरू हुआ था। इसके लिए 323.41 करोड़ की राशि स्वीकृत की गई थी। 6 जून 2003 को तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने इस परियोजना का शिलान्यास किया था।
परियोजना की संशोधित अनुमानित लागत 516.02 करोड़ बताई जा रहा है। रेल महकमे की ओर से मिली जानकारी के मुताबिक, कोविड 19 महामारी के दौरान भी पूर्व-मध्य रेलवे सभी स्वास्थ्य सुरक्षा उपायों का पालन करते हुए परियोजना को अंतिम रूप देने के लिए लगातार कार्यरत है। यह कार्य पूरा होने के बाद कोसी महासेतु सहित निर्मली सरायगढ़ रेलखंड को राष्ट्र की सेवा में समर्पित कर दिया जाएगा। गौरतलब है कि कोसी नदी संपूर्ण बिहार प्रदेश की ही नहीं, बल्कि भारत और नेपाल की प्रमुख नदियों में गिनी जाती है। यह बराह क्षेत्र कुसहा तथा चतरा स्थानों से होते हुए बिहार की सीमा में सहरसा जिले के बीरपुर और भीमनगर स्थानों से प्रवेश करती है।
रीजनल ईस्ट
86 साल बाद कोसी रेल पुल बनकर तैयार, पूरा हुआ पूर्व पीएम वाजपेयी का सपना