नई दिल्ली । उत्तरी दिल्ली नगर निगम (एनडीएमसी) के शिक्षा, भवन, डेम्स और लाइसेंसिंग विभाग के 14 रिटायर्ड अधिकारियों के खिलाफ कदाचार सहित अनुशासनात्मक कार्रवाई की जाएगी। इन अधिकारियों में अतिरिक्त शिक्षा निदेशक, अधिशासी अभियंता, लाइसेंसिंग निरीक्षक से लेकर क्लर्क स्तर के अधिकारी शामिल हैं। सूत्रों के मुताबिक, उत्तरी निगम के शिक्षा विभाग में तैनात रहे अतिरिक्त शिक्षा निदेशक आर.के.एस. पर आरोप है कि उन्होंने पुस्तक प्रकाशक मोहिंदर सिंह , सहायक पुस्तकालध्यक्ष तथा सहायक निदेशक शिक्षा अशोक कुमार के साथ मिलीभगत कर वर्ष 2009-10 में 22 लाख 56 हजार 116 रुपये की 8795 पुस्तकों की खरीद की और वर्ष 2010-11 के दौरान भी 21 लाख 99 हजार 983 रुपये की पुस्तकों की खरीद की।
बताया गया कि वर्ष 2010-11 के दौरान खरीदी गई पुस्तकों के मूल्य से 2.72 गुना अधिक है इससे निगम की आर्थिक हानि हुई थी। दूसरा मामला उत्तरी निगम के भवन विभाग के रिटायर्ड अधिशासी अभियंता धर्मवीर सिंह से जुड़ा है। वर्ष 2008 में वह नरेला भवन विभाग में कार्यरत थे। उन्होंने 21 अगस्त को वसंत कुंज स्थित एक फार्म हाउस में हो रहे अवैध निर्माण को इंगित नहीं किया और उच्चाधिकारियों को भ्रमित किया।
साथ ही सील किए इस फार्म हाउस को डी-सीलिंग करने के बाद पुन: सील नहीं किया था। जांच के बाद उनकी पेंशन में से एक वर्ष तक दो प्रतिशत की कटौती का अर्थदंड आरोपित किया है। इसी तरह अन्य विभाग के 12 रिटायर्ड अधिकारी भी शामिल हैं। रिटायर्ड अतिरक्ति निदेशक सहित अन्य अधिकारियों के खिलाफ जांच पूरी होने के बाद निगमायुक्त ने अपने पत्र में इस मामले को पदोन्नतियां, अनुशासनात्मक एवं सम्बद्ध मामले समिति के समक्ष भेजा था। इस आरोप में अतिरक्ति निदेशक की पेंशन में से एक वर्ष की अवधि के लिए पांच प्रतिशत की कटौती का अर्थदंड लगाया गया। महापौर जयप्रकाश का कहना है कि सदन की बैठक में रिटायर्ड अधिकारियों के खिलाफ घोर कदाचार के मामलों के प्रस्ताव को पास कर दिया गया है इन सभी मामलों में कार्रवाई की जाएगी।
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उत्तरी निगम के 14 रिटायर्ड अधिकारियों के खिलाफ होगी कार्रवाई