फानी तूफान ओडिशा तट से टकरा चुका है। भुवनेश्वर, गजपति, केंद्रपारा और जगतपुर सिंह इलाके में तेज हवाओं के साथ बारिश हो रही है और समंदर में काफी ऊंची लहरें उठने लगी हैं। मौसम विभाग के मुताबिक आज 170 से 200 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से फानी तूफान पुरी के आसपास गोपालपुर और चंदबली के बीच ओडिशा तट से टकराने वाला है। प्रशासन पहले से ही मुस्तैद है। समुद्री किनारों से लोगों को हटा कर सुरक्षित जगहों पर पहुंचा दिया गया है। सरकारी इंतजामों और तूफान से लडऩे की तैयारियों पर खुद मुख्यमंत्री नवीन पटनायक पैनी नजर बनाए हुए हैं।
ओडिशा तट से टकराने के बाद होगा कमजोर
जानकारों के मुताबिक, ओडिशा तट से टकराने के बाद तूफान कमजोर होते हुए उत्तर पूर्व की बढ़ते हुए पश्चिम बंगाल पहुंचेगा। तब उसकी रफ्तार अधिकतम 115 किलोमीटर प्रति घंटा रह जाएगी। फानी के चार मई को भारत से निकलकर बांग्लादेश पहुंचने की संभावना है। फानी के पिछले 2 दशकों में सबसे खतरनाक चक्रवाती तूफान साबित होने की आशंका जताई जा रही है।
14 जिले प्रभावित
फानी से निपटने के लिए एनडीआरएफ के जवान मुस्तैद हैं। राहत और बचाव के लिए ओडिशा, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु, अंडमान, झारखंड और केरल में एनडीआरएफ की कई टीमें लगाई गई हैं। कई राज्यों की टीमों को अलर्ट पर रखा गया है, जिसे खतरे से निपटने के लिए जरूरत के हिसाब से तुरंत प्रभावित इलाकों में भेजा जा सके। नौसेना ने भी अपनी ओर से मुकम्मल इंतजाम किए हैं। फानी तूफान से ओडिशा के 14 जिलों के प्रभावित होने की आशंका है।
चपेट में 10 हजार गांव, भुवनेश्वर-कोलकाता एयरपोर्ट भी बंद
चक्रवाती तूफान फानी का सबसे ज्यादा प्रभाव ओडिशा में पड़ेगा। इससे ओडिशा के करीब 10 हजार गांव और 52 शहर प्रभावित होंगे। गृह मंत्रालय के मुताबिक पूर्वी तटीय इलाकों से 8 लाख 20 हजार लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा रहा है, जबकि करीब 3 लाख 30 हजार लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया जा चुका है। इसके अलावा स्कूल, कॉलेजों और सरकारी कार्यालयों को बंद कर दिया गया है। वहीं, ओडिशा के भुवनेश्वर एयरपोर्ट को आधी रात और पश्चिम बंगाल के कोलकाता एयरपोर्ट को रात साढ़े नौ बजे से बंद कर दिया गया है। भुवनेश्वर एयरपोर्ट 24 घंटे तक बंद रहेगा, जबकि कोलकाता एयरपोर्ट शुक्रवार शाम 6 बजे तक बंद रहेगा। एयर ट्रैफिक कंट्रोल के क्लियरेंस के बाद भुवनेश्वर और कोलकाता एयरपोर्ट से विभानों की आवाजाही शुरू होगी।
11 लाख लोगों को तटीय इलाकों से निकाला गया
चक्रवाती तूफान फानी के पूर्वी तट की ओर मुडऩे के कारण ओडिशा में 11 लाख लोगों को तटीय इलाकों से निकाला गया। यह देश का अब तक सबसे बड़ा आपदा पूर्व अभियान है। चक्रवात के शुक्रवार की दोपहर तक पुरी के नजदीक तट से टकराने की आशंका है। विशेष राहत आयुक्त (एसआरसी) के मुताबिक, तटीय इलाकों से निकालकर लोगों को 880 चक्रवात केंद्रों, स्कूल-कॉलेज की इमारतें और अन्य ठिकानों जैसे सुरक्षित स्थानों पर ले जाया जा रहा है। ओडिशा के 14 जिले-पुरी, जगतसिंहपुर, केंद्रपाड़ा, बालासोर, भद्रक, गंजम, खुर्दा, जाजपुर, नयागढ़, कटक, गजपति, मयूरभंज, ढेंकानाल और क्योंझर के चक्रवात की चपेट में आने की संभावना है। वहीं आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु और पश्चिम बंगाल में चक्रवात का प्रभाव पडऩे की संभावना है।