नई दिल्ली। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने बैंक ऑफ इंडिया के नेतृत्व वाले बैंकों के एक समूह से 750 करोड़ रुपये से अधिक की कथित धोखाधड़ी की जांच के लिए उत्तर प्रदेश के बसपा विधायक विनय शंकर तिवारी और अन्य के खिलाफ धन शोधन का एक मामला दर्ज किया है। आधिकारिक सूत्रों ने बुधवार को यह जानकारी दी। केंद्रीय जांच एजेंसी के लखनऊ स्थित क्षेत्रीय कार्यालय ने धन शोधन रोकथाम कानून के विभिन्न प्रावधानों के तहत चिल्लूपार(गोरखपुर) से विधायक और लखनऊ स्थित कंपनी गंगोत्री इंटरप्राइजेज के खिलाफ एक ईसीआईआर (प्रवर्तन मामला सूचना रिपोर्ट) दर्ज की है।
ईसीआईआर, पुलिस प्राथमिकी के समान होती है। तिवारी (54), पूर्व मंत्री एवं गोरखपुर के बाहुबली नेता रहे हरि शंकर तिवारी के पुत्र हैं। सूत्रों ने बताया कि ईडी ने विनय, उनकी पत्नी रीता, गंगोत्री इंटरप्राइजेज सहित अन्य के खिलाफ अपनी ईसीआईआर दर्ज करने के लिए पिछले साल अक्टूबर में सीबीआई द्वारा दर्ज की गई एक प्राथमिकी का अध्ययन किया। सीबीआई ने शिकायत दर्ज करने के बाद लखनऊ और नोएडा में छापे भी मारे थे। कथित धोखाधड़ी बैंक ऑफ इंडिया नीत बैंकों के समूह के खिलाफ की गई, जो 754.25 करोड़ रूपये की है। आधिकारिक सूत्रों के मुताबिक, ईडी की जांच के दायरे में ऐसे कम से कम चार दृष्टांत हैं, जिनके चलते बैंक के धन को दूसरे मद में ले जाया गया और उसमें अनियमितता बरती गई।
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ईडी ने उप्र के बसपा विधायक, अन्य के खिलाफ धन शोधन का मामला दर्ज किया -बैंकों के एक समूह से 754 करोड़ रुपये से अधिक की कथित धोखाधड़ी का मामला