नई दिल्ली । दिल्ली सरकार ने यूपीएससी का सपना देखने वाले बच्चों के लिए शुरू किए गए कार्यक्रम में स्टूडेंट्स के साथ युवा आईएएस, आईपीएस अधिकारी हर महीने संवाद करते है व पढ़ाई और तैयारी से जुड़े अनुभव शेयर करते है। इससे विद्यार्थियों को यूपीएससी परीक्षा की समझ पैदा होती है तथा स्टडी प्लान बनाने में मदद मिलती है ।
सर्वोदय कन्या विद्यालय, विकासपुरी में आयोजित इस सीरीज़ की तीसरी कड़ी में आज दिल्ली सरकार के शिक्षा निदेशक उदित प्रकाश नें नेहा बंसल डिस्ट्रिक्ट मजिस्ट्रेट पश्चिम जिला के साथ सत्र का संचालन किया। दोनों नें स्टूडेंट के साथ अपनी यूपीएससी की तैयारियों से जुड़े अनुभवों को साझा किया। विभिन्न विद्यालयों के लगभग 100 बच्चों के साथ प्रत्यक्ष संवाद के अलावा इस कार्यक्रम में लगभग 4000 बच्चे यूट्यूब लाइव के माध्यम से भी जुड़े।
संवाद के दैरान नेहा बंसल ने अपने तैयारी के दिनों के अनुभवों को साझा करते हुए कहा कि कॉलेज में ही उन्होंने ये निश्चित कर लिया था कि उन्हें आईएएस अधिकारी बनना है। वह दिन में 7-8 घंटे पढ़ाई करती थी, जिससे उन्हें परीक्षा के दौरान कोई परेशानी नही हुई। उन्होंने बताया कि स्नातक के द्वितीय वर्ष में पुराने प्रश्न-पत्रों और सिलेबस को ध्यान में रख कर ही तैयारी शुरू कर दी थी। जिससें वो तैयारी के दौरान भटकी नहीं।
नेहा बंसल नें बच्चों से संवाद के दौरान बताया कि तैयारी के लिए उन विषयों को चुनना चाहिए जिसे पढ़ने में मज़ा आता हो, इससे तैयारी में फायदा मिलता है। उन्होंने यूपीएससी की तैयारी करने के लिए बच्चों को एनसीईआरटी की किताबों पर फ़ोकस करने के लिए कहा। नेहा ने बताया कि 3 बार परीक्षा में अनुतीर्ण होने के बावजूद उन्होंने हार नही मानी और निरंतर मेहनत करती रही। उन्होंने कहा कि खुद को नेगेटिव विचारों से दूर रखें ऐसे विचार आने पर आप अपने पेरेंट्स से बात करे और आत्म विश्लेषण करे कि आपकी तैयारी में कहा कमी आ रही है, उसके बाद दोबारा तैयारी में लग जाए। आईएएस अधिकारी नेहा ने कहा कि "जीवन के सबसे कठिन समय में ही सबसे ज़्यादा सीखने को मिलता हैं"।
शिक्षा निदेशक ने बच्चों से संवाद के दौरान कहा कि यदि आपका उद्देश्य देश की सेवा करना है तो असफलता कभी भी आप पर हावी नही होगी। उन्होंने कहा कि लोगों ने ये गलत धारणा बना रखी है कि आर्ट्स लेने वाले छात्र कभी बेहतर नही करते। यूपीएससी में सफलता हासिल करने वाले ज़्यादातर लोग आर्ट्स स्ट्रीम से ही होते है। उन्होंने बच्चों से कहा कि हम भी आपकी ही तरह है, कुछ समय बाद आपलोग हमारी जगह पर होंगे।
शिक्षा निदेशक ने कहा कि इस कार्यक्रम के माध्यम से दिल्ली सरकार का प्रयास यूपीएसई की तैयारी के मिथ्यों को दूर कर बच्चों में आत्मविश्वास जगाना है। उन्होंने यह भी बताया कि यूपीएसई व अन्य प्रतियोगिता परीक्षाओं की तैयारी करने वाले बच्चों के लिए दिल्ली सरकार की 'जय भीम' योजना के तहत बच्चों को मुफ़्त में कोचिंग दी जाती हैं।
IAS उदित प्रकाश ने साझा किया कि दिल्ली सरकार ने भविष्य में इस तरह के और कार्यक्रमों की योजना बनाई है। जिससे दिल्ली के बच्चों को अपने सपनों को पूरा करने की दिशा में मार्गदर्शन प्राप्त होगा।
रीजनल नार्थ
ईएएस/आईपीएस बनने के इच्छुक बच्चों के लिए दिल्ली सरकार की पहल का तीसरा सत्र आज आयोजित