कोलकाता । भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कहा कि चुनाव कराना निर्वाचन आयोग की ‘‘संवैधानिक बाध्यता है जो उसे पूरा करना होता’’ है। उनका यह बयान मद्रास उच्च न्यायालय की उस टिप्पणी के चंद घंटे बाद आया जिसमें अदालत कोविड-19 संबंधी दिशा-निर्देशों के उल्लंघन के लिए आयोग की कटु आलोचना की। पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव के 8वें चरण के तहत होने वाले मतदान से पहले प्रचार अभियान की समाप्ति करते हुए नड्डा ने कहा कि भाजपा ने निर्वाचन आयोग के सभी दिशा-निर्देशों और स्वास्थ्य संबंधी प्रोटोकॉल का पालन किया।
भाजपा अध्यक्ष ने कहा, ‘‘चुनाव कराना निर्वाचन आयोग की संवैधानिक बाध्यता है जो उसे पूरा करना होता है। चाहे कोई संस्था हो या संस्था में बैठे हुए लोग हों, उनको वाक्यों और शब्दों की मर्यादा का ध्यान रखना चाहिए। मद्रास उच्च न्यायालय ने निर्वाचन आयोग की तीखी आलोचना करते हुए उसे देश में कोविड-19 की दूसरी लहर के लिए अकेले जिम्मेदार करार दिया और कहा कि वह सबसे गैर जिम्मेदार संस्था है। अदालत ने तीखी टिप्पणी करते हुए कहा कि निर्वाचन आयोग के अधिकारियों के खिलाफ हत्या के आरोपों में भी मामला दर्ज किया जा सकता है। इस याचिका में अधिकारियों को यह निर्देश दिए जाने का आग्रह किया है कि 2 मई को करूर में कोविड-19 रोधी नियमों का पालन करते हुए निष्पक्ष मतगणना सुनिश्चित की जाए।
नड्डा ने कहा कि इस बार के चुनाव ‘‘अप्रत्याशित’’ और ‘‘अभूतपूर्व’’ रहे। उन्होंने कहा, ‘‘ममता बनर्जी के नेतृत्व में तृणमूल कांग्रेस ने मर्यादाओं को ताक पर रखा। बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है कि एक वर्तमान मुख्यमंत्री को अपरिपक्व और गैरजिम्मेदाराना बयान देने के लिए 24 घंटे प्रचार से रोकना पड़ा (निर्वाचन आयोग द्वारा)। भाजपा ने अपनी तरफ से प्रचार के उच्च मानदंडों का पालन किया।’’ यह पूछे जाने पर कि भाजपा यदि सत्ता में आती है तो कोविड-19 महामारी के प्रसार को रोकने के लिए उसके पास क्या योजना होगी, उन्होंने कहा, ‘‘’’समस्याओं का हम आगे बढ़कर समाधान करते आए हैं और भविष्य में भी करेंगे।
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भाजपा ने निर्वाचन आयोग के सभी प्रोटोकॉल का पालन किया: जेपी नड्डा