तेलअवीव । वैज्ञानिकों ने चूहे के जीवन को 23 फीसदी तक बढ़ाने का तरीका ढूढ़ लिया है। इस बेहद अहम शोध को अगर इंसानों पर लागू किया जाता है तो मनुष्य का सामान्य जीवन 120 वर्ष तक हो सकता है। कोरोना वायरस महामारी के बीच इजरायल से एक अच्छी खबर सामने आई है। शोध के दौरान वैज्ञानिकों ने एसआईआटी6 नामक प्रोटीन की आपूर्ति बढ़ाकर 250 चूहों के जीवनकाल को 23 फीसदी तक बढ़ा दिया। एक रिपोर्ट के मुताबिक एसआईआटी6 प्रोटीन सामान्य तौर पर वृद्धावस्था की प्रक्रिया को कमजोर कर देता है। जर्नल नेचर कम्यूनिकेशन में प्रकाशित शोध में वैज्ञानिकों ने कहा कि एसआईआटी6 प्रोटीन से भरपूर पशुओं के कैंसर से कम संक्रमित होने का खतरा रहता है। बार इलान यूनिवर्सिटी के प्रफेसर हैम कोहेन ने कहा, 'जीवन प्रत्याशा में बदलाव बेहद महत्वपूर्ण है। वह भी तब जब आप यह मानते हैं कि इसी तरह से इंसान के जीवन प्रत्याशा में वृद्धि से हम 120 साल तक जी सकेंगे।'कोहेन ने कहा, 'चूहों में हमने जिस बदलाव को देखा है, उसे इंसानों में भी लागू किया जा सकता है और अगर ऐसा होता है तो यह बहुत रोमांचक होगा।' कोहेन की लैब उन दवाओं का पता लगाने का प्रयास कर रही है जिससे सुरक्षित तरीके से इंसानों के शरीर के अंदर SIRT6 नामक प्रोटीन को बढ़ाया जा सकेगा।
वर्ष 2012 में कोहेन पहले ऐसे शोधकर्ता थे जो पशुओं में प्रोटीन के स्तर को बढ़ाने में कामयाब हो गए थे, जिससे उनका जीवन बढ़ गया।रिपोर्ट में कहा गया है कि वर्ष 2012 में नर चूहों का जीवन 15 प्रतिशत बढ़ गया था लेकिन मादा चूहिया पर इसका कोई असर नहीं पड़ा था।कोहेन ने कहा कि अगले दो से तीन साल के अंदर उनकी लैब इस प्रयोग को इंसानों में दोहराने में कामयाब हो जाएगी और एसआईआटी6 प्रोटीन को बढ़ाने की एक सटीक दवा बना लेगी। ताजा शोध में पता चलता है कि एसआईआटी6 प्रोटीन की मात्रा बढ़ाने से नर और मादा दोनों ही चूहों की उम्र बढ़ गई। शोध के दौरान नर की उम्र 30 फीसदी और मादा की उम्र करीब 15 फीसदी बढ़ गई। वैज्ञानिकों ने पाया कि वृद्ध होते चूहों के अंदर ऊर्जा पैदा करने की क्षमता कम हो जाती है। हालांकि ऐसे बुजुर्ग चूहे जिनके अंदर एसआईआरटी6 प्रोटीन की मात्रा ज्यादा थी, उन्होंने आसानी से ऊर्जा बना ली।
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120 साल तक हो सकता है मनुष्य का जीवन! -वैज्ञानिकों ने बढ़ाया चूहे का 23 फीसदी जीवन