नई दिल्ली । राजधानी दिल्ली आने वाले समय में कैसी होगी, इसका खाका दिल्ली विकास प्राधिकरण ने नए ‘मास्टर प्लान 2041’ में पेश किया है। इसमें कामकाजी युवाओं को सस्ती दरों पर छोटे मकान और किराये का घर देने की तैयारी है तो काम करने के लिए बेहतर जगह भी मुहैया कराने की योजना बनाई गई है। एजुकेशन हब और वर्किंग हॉस्टल बनाने की बात भी है। मास्टर प्लान के मुताबिक, 2041 में दिल्ली की आबादी 2.90 करोड़ के करीब होगी। उस समय दिल्ली की औसत आयु भी 35 साल की होगी। कार्य करने वाली आबादी का एक बड़ा हिस्सा इसी आयु वर्ग से होगा। प्राधिकरण ने मास्टर प्लान में इसका विशेष ध्यान रखा एजुकेशन हब बनाने की बात है जिससे एक ही जगह पढ़ाई से लेकर रहने की व्यवस्था होगी। नौकरी पाने के बाद वह घर खरीद नहीं सकता है तो उसके लिए सस्ती दरों पर किराये के घर भी उपलब्ध कराएं जाएंगे। यही नहीं मिश्रित कार्यस्थल (को वर्किंग स्पेस) की बात की गई है। कोरोना महामारी से सबक लेते हुए मास्टर प्लान में इससे लड़ने का भी प्रावधान किया गया है। इसमें आवासीय इलाकों में पृथकवास की व्यवस्था की गई है, जिसमें किचन से लेकर अन्य व्यवस्था हो। इससे अगर कोई आपदा आती है तो वहां रहने वाले लोगों को कहीं दूर न जाना पड़े। वहीं पर लोगों को सारी सुविधाएं मिलें। बढ़ते वर्क फ्रॉम होम को देखते हुए आने वाले समय में निजी व सार्वजनिक वाहनों का प्रयोग कम होगा उसके हिसाब से सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था को तैयार किया जाए। लैंडयूज में बड़ा बदलाव किया गया है। अभी 18 मीटर चौड़ी सड़कों पर मिक्स लैंड यूज की छूट है। अब इसे बढ़ाकर 24 मीटर कर दिया गया है। उन्हीं सड़कों पर मिक्स लैंड यूज किया जा सकेगा। डीडीए ने किराये पर छोटे सस्ते मकान देने की भी योजना बनाई है। इसके तहत छोटे फ्लैट के अलावा, हॉस्टल और वर्किंग हॉस्टल बनाए जाएंगे। लैंड पूलिंग पॉलिसी के तहत दिल्ली में 17-20 लाख मकान विकसित करने की योजना इस मास्टर प्लान में है। पहले बसी कॉलोनियों को सुनियोजित किया जाएगा, इनमें बुनियादी सुविधाओं के साथ अनधिकृत कॉलोनी में बाजार, छोटे कॉम्प्लेक्स बनाने की भी बात
रीजनल नार्थ
राजधानी में एक ही जगह मिलेगी पढ़ाई से लेकर रहने की सुविधा