गोरखपुर। सूबे के मुखिया योगी आदित्यनाथ ने कहा कि कोरोना के कारण देश व दुनिया त्रस्त रही है। कई राज्यों व देशों में व्यापक क्षति हुई है। हमें यह ध्यान रखना होगा कि कोरोना कमजोर जरूर हुआ है, खत्म नहीं। इसके खिलाफ लड़ाई में सावधानी व जागरुकता सबसे बड़ा हथियार है। हमें निरंतर सतर्क रहना होगा। कोरोना बीते 100 वर्षों में सबसे भीषण महामारी है। योगी ने शुक्रवार को गोरखनाथ मंदिर के कार्यालय में मीडियाकर्मियों से बातचीत करते मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि जिन बच्चों ने कोरोना के चलते अपने माता पिता या घर के कमाऊ अभिभावक को खोया है, उनके पालन पोषण व पढ़ाई लिखाई की जिम्मेदारी सरकार उठाएगी।
इन बच्चों के लिए केंद्र व राज्य सरकार ने कई प्राविधान किए हैं। इसी क्रम में 18 वर्ष से अधिक के बच्चों की उच्च व तकनीकी शिक्षा की निशुल्क व्यवस्था के साथ उन्हें टैबलेट भी दिया जाएगा। इसके साथ ही निराश्रित हुई बालिका के शादी योग्य होने पर सरकार की तरफ से एक लाख एक हजार रुपया प्रदान किया जाएगा। योगी ने कहा कि बाल संरक्षण गृहों में रहने वाले बच्चों के लिए सरकार की तरफ से प्रति माह दो हजार रुपया पहले से ही दिया जाता है। भारत सरकार ने कोरोना से अनाथ हुए बच्चों के लिए पीएम केयर्स फंड की व्यवस्था की है जिसमें बच्चे के 23 वर्ष का होने पर 10 लाख रुपये दिए जाने की व्यवस्था की गई है। मुख्यमंत्री ने बताया कि मुख्यमंत्री बाल सेवा योजना के तहत लाभान्वित किए जाने हेतु अभी तक 174 बच्चे चिन्हित किए गए हैं, जिन्होंने अपने कमाऊ अभिभावक को खोया है। इनमें से छह बच्चे ऐसे हैं जिन्होंने माता पिता दोनों को खोया है। इनमें से पांच बच्चों से मुख्यमंत्री ने शुक्रवार सुबह मुलाकात की। उन्होंने कहा कि बच्चों को सरकार की योजना का लाभ दिलाने के लिए बाल विकास एवं पुष्टाहार विभाग के अधिकारियों को निर्देशित कर दिया गया है। सीएम योगी ने कहा कि सभी निराश्रित बच्चों के प्रति सरकार की संवेदना है और उन्हें किसी भी प्रकार की परेशानी नहीं होने दी जाएगी।
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कोरोना कमजोर हुआ है, खत्म नहीं... -100 वर्षों में आई भीषण महामारीः सीएम योगी