नई दिल्ली । दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन (डीएमआरसी) के इतिहास में पहली बार चौथे चरण के कार्य के तहत मजलिस पार्क-मौजपुर कॉरिडोर पर एक एकीकृत “फ्लाईओवर कम मेट्रो वायडक्ट स्ट्रक्चर अंडरपास का निर्माण किया जा रहा है। डीएमआरसी अधिकारियों ने रविवार को बताया कि उत्तर-पूर्वी दिल्ली के सूरघाट में पास यह परियोजना दिल्ली के लोक निर्माण विभाग की मदद से क्रियान्वित की जा रही है। दिल्ली मेट्रो की ओर से कहा गया कि यह मास रैपिड ट्रांजिट सिस्टम के इतिहास में पहली बार एकीकृत "फ्लाईओवर-कम-मेट्रो वायडक्ट स्ट्रक्चर" होगा, जहां फ्लाईओवर और मेट्रो वायडक्ट एक दूसरे के समानांतर चलेंगे। डीएमआरसी की ओर से जारी एक बयान में कहा गया कि पीडब्ल्यूडी का यह फ्लाईओवर और वाहन अंडरपास, यमुना नदी के पास प्रस्तावित एलिवेटेड रोड परियोजना का हिस्सा हैं जो कि वजीराबाद फ्लाईओवर (सिग्नेचर ब्रिज) और डीएनडी (दिल्ली नोएडा दिल्ली) फ्लाईवे के पास रिंग रोड के बीच स्थित रिंग रोड के समानांतर है।डीएमआरसी ने कहा कि अपनी तरह के इस पहले इंजीनियरिंग के कारनामे में, एकीकृत पोर्टल बनाए जाएंगे, जिस पर एक रोड फ्लाईओवर के साथ-साथ एक मेट्रो वायडक्ट भी रखा जाएगा। पोर्टल के एक तरफ, मेट्रो वायडक्ट रखा जाएगा, एक पीडब्ल्यूडी वाहनों की आवाजाही के लिए इस्तेमाल होने वाले फ्लाईओवर का निर्माण दूसरी तरफ किया जाएगा। इन पोर्टलों पर, सड़क फ्लाईओवर और मेट्रो वायडक्ट लगभग 450 मीटर की लंबाई के लिए एक दूसरे के समानांतर चलेंगे। 26 मीटर की औसत चौड़ाई और 10 मीटर की ऊंचाई वाले कुल 21 पोर्टल बनाए जाएंगे। इसके अलावा, इन पोर्टलों के नीचे एक वाहन अंडरपास भी बनाया जाएगा, जो बाहरी रिंग रोड से आने वाले वाहनों की आवाजाही को पूरा करेगा । अधिकारियों ने कहा कि चौथे चरण के काम के हिस्से के रूप में डीएमआरसी पहले से ही दो एकीकृत डबल डेकर फ्लाईओवर का निर्माण कर रहा है, जिस पर एक मेट्रो वायडक्ट और एक रोड फ्लाईओवर एक के ऊपर एक रखा जाएगा। हालांकि, यह पिंक लाइन सेक्शन अद्वितीय है क्योंकि प्रस्तावित फ्लाईओवर और मेट्रो वायाडक्ट एक दूसरे के समानांतर होंगे।
रीजनल नार्थ
मेट्रो के इतिहास में पहली बार होने जा रहा ये काम