पांच लाख की इनामी महिला नक्सली पीसी दी उर्फ प्रिसिला उर्फ सावड़ी देवी और किरण उर्फ पक्कू समेत छह हार्डकोर नक्सलियों ने सोमवार को दुमका में पुलिस के समक्ष सरेंडर कर दिया। सरेंडर करने वाले नक्सलियों में शामिल पक्कू, पूर्व नक्सली ताला दा की पत्नी है। पक्कू के खिलाफ 16 मुकदमे दर्ज हैं। वहीं पीसी दी के पति सुखलाल देहरी ने भी पुलिस के सामने हथियार डाल दिये। इस मौके पर डीआइजी संताल परगना राजकुमार लकड़ा, डीआइजी एसएसबी सुमित जोशी, एसपी वाईएस रमेश, एसएसबी के कमांडेंट परीक्षित बेहरा, डीडीसी वरुण रंजन, अपर समाहर्ता सुनील कुमार, एसडीओ राकेश कुमार, एसएसबी के द्वितीय कमान अधिकारी संजय कुमार गुप्ता, एएसपी अभियान आरसी मिश्रा और एमानुएल बास्की आदि मौजूद थे।
ये सभी नक्सली संगठन भाकपा माओवादी से जुड़े थे। पुलिस ने बताया कि झारखंड सरकार के प्रत्यार्पण एवं पुनर्वास योजना से प्रभावित होकर इन नक्सलियों ने सरेंडर किया है। सभी ने अपने-अपने परिजनों के माध्यम से आवेदन दिया था कि वे आत्मसर्पण करना चाहते हैं।
सरेंडर करने वाले 6 नक्सलियों में तीन पुरुष और तीन महिला हैं। इनके नाम सुखलाल देहरी उर्फ कंदरा देहरी, पीसी दी उर्फ प्रिसिला देवी उर्फ सावड़ी सिंह, प्रेमशीला उर्फ होपन टी, किरण टुडू उर्फ पक्कू टुडू उर्फ उषा टुडू उर्फ फुलीना टुडू, भगत सिंह उर्फ भगत सिंह हेम्ब्रम उर्फ बाबूराम हेम्ब्रम और सिद्धो मरांडी उर्फ कन्हु हैं। इनमें पांच दुमका के रहने वाले हैं, जबकि एक पाकुड़ का है।
पाकुड़ की नक्सली किरण टुडू उर्फ पक्कू टुडू पूर्व नक्सली ताला दा की पत्नी है। उसके पिता का नाम कटू टुडू है, वह पाकुड़िया थाना क्षेत्र के गायपाथर की रहने वाली है। वहीं, सुखलाल देहरी और पीसी दी, जो पति-पत्नी हैं, दुमका जिला के काठीकुंड थाना क्षेत्र के छोटा तेतुलमाठ के रहने वाले हैं। जबकि प्रेमशीला, भगत सिंह और सिद्धो मरांडी दुमका के शिकारीपाड़ा थाना क्षेत्र के रहने वाले हैं। सिद्धो मरांडी धर्मपुर गांव का है, तो प्रेमशीला धर्मपुर और भगत सिंह शंकरपुर (मलुटी) की रहने वाली है।
पुलिस ने बताया कि ये सभी नक्सली दुमका और संताल परगना के अन्य जिलों में सक्रिय थे। ये लोग सबजोनल कमांडर ताला दा उर्फ सहदेव राय के दस्ता में सक्रिय थे। दस्ते के लिए इन्होंने कई घटनाओं को अंजाम दिया था। ताला दा 13 जनवरी, 2019 को पुलिस के साथ मुठभेड़ में मारा गया था। सुखलाल देहरी और प्रेमशीला देवी को छोड़कर सभी चार नक्सली काठीकुंड थाना क्षेत्र में 2 जुलाई 2013 को पाकुड़ में एसपी अमरजीत बलिहार हत्याकांड में शामिल थे। इनके विरुद्ध दुमका जिला में कई केस दर्ज हैं।
सरेंडर करने वाले सभी नक्सलियों को झारखंड सरकार की सरेंडर पॉलिसी के तहत पुलिस की ओर से इनाम की राशि के चेक दिये गये। नीति के तहत दी जाने वाली अन्य सुविधाएं भी इन्हें जल्द ही उपलब्ध करायी जायेंगी. इतना ही नहीं, इन सभी को व्यावसायिक प्रशिक्षण भी दिया जायेगा, ये आम और इज्जतदार शहरी की तरह जीवन व्यतीत कर सकें।इन सभी नक्सलियों को अपना केस लड़ने के लिए सरकार की ओर से वकील उपलब्ध कराया जायेगा।
आत्मसमर्पण करने वाले नक्सलियों में पांच-पांच लाख के दो और एक-एक लाख के दो नक्सली तथा दो हार्डकोर नक्सली शामिल है। प्रतिबंधित नक्सली संगठन भाकपा-माओवादी की पांच लाख की इनामी सब जोनल नक्सली पीसी डी ने ए.के.47 के साथ, पांच लाख की इनामी सबजोनल नक्सली किरण दी ने कारबाईन के साथ, एक लाख के इनामी एरिया कमांडर सिद्धो मरांडी ने इंसास रायफल, माओवादी सदस्य और एक लाख की इनामी प्रेमशीला देवी के अलावा हार्डकोर सदस्य सुखलाल देहरी ने पिस्तौल और भगत सिंह किस्कू ने रायफल के साथ आत्मसमर्पण किया।
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छह नक्सलियों ने पुलिस के समक्ष आत्मसमर्पण किया