लखनऊ । मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि उत्तर प्रदेश में लम्बे समय तक सत्ता का सुख लेने वाले वोट बैंक की खातिर भगवान श्रीराम को भी गाली देने से नहीं चूकते थे। इन लोगों ने अयोध्या में भगवान श्रीराम राम का मंदिर बनाने को लेकर तमाम तरह की बाधाएं भी पैदा की। इसके बाद आज समय ऐसा आ गया है कि यह सभी दल भगवान श्रीराम की शरण में हैं। जिस अयोध्या तक जाने से इनको परहेज था, आज हर दूसरे दिन कोई ना कोई नेता रामलला का आशीर्वाद लेने जरूर जाता है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मंगलवार को यहां प्रदेश भाजपा द्वारा आयोजित लोध-राजपूत के सम्मेलन को संबोधित करते हुए भगवान श्रीराम का नाम लेकर पूर्ववर्ती सरकारों पर कटाक्ष करने के साथ ही साढ़े चार साल की उपलब्धियों का भी उल्लेख किया। वहीं पूर्व मुख्यमंत्री स्वर्गीय कल्याण सिंह को मंदिर निर्माण का प्रणेता करार दिया है। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल का नाम लिए बिना उन्होंने कहा कि पहले राम को गाली देते थे अब लगता है कि राम के बगैर राम के बिना नैया पार नहीं होगी तो अयोध्या आ गए। उन्होंने कहा कि छह दिसम्बर 1992 को कोई ऐसी पार्टी नहीं जिसने कल्याण सिंह को कोसा नहीं हो। अब केजरीवाल से दिल्ली संभल नहीं रही है तो रामलला की शरण में आए हैं। इनसे दिल्ली संभलती नहीं और यूपी में फ्री-फ्री की बात करते हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि भाजपा ने देश तथा प्रदेश को अपना परिवार माना है। उसी के तहत काम भी हो रहा है। गरीबों को पांच लाख रुपये का आयुष्मान भारत का कार्ड दिया गया तो कोरोना काल में गरीबों को फ्री में राशन दिया गया है। पहले किसी एक परिवार के लिए काम होते थे। अब पूरे प्रदेश को परिवार मानकर काम हो रहा। मोदी जी पूरे देश को परिवार मानकर काम कर रहे। उन्होंने सपा का नाम लिए बिना कहा कि आजकल लखनऊ में एक पार्टी के मुखिया का विज्ञापन है कि ‘मैं आ रहा हूं’। इसका मतलब अपहरण, गुंडागर्दी, मारपीट, लूट का संकेत दे रहे कि उनके आने से यही होगा। प्रदेश में उनकी सरकार आते ही आतंकियों का मुकदमा हटाना और कोसीकलां का दंगा शुरू होगा। फिर सिलसिला चलेगा। पहले हर तीसरे दिन यही होता था। हम सभी को उनके चरित्र को समझना जरूरी है।
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लंबे समय तक सत्ता में रहे लोगों ने राम मंदिर निर्माण में पैदा की बाधायें-योगी