नई दिल्ली । सुप्रीम कोर्ट ने आरजेडी नेता शरद यादव को दिल्ली का सरकारी बंगला खाली करने के लिए 31 मई तक समय दिया है। इससे पहले दिल्ली हाई कोर्ट ने इस महीने के अंत तक उन्हें बंगला खाली करने के लिए कहा था। इस फैसले को खराब स्वास्थ्य का हवाला देते हुए शरद यादव ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी। अब शीर्ष अदालत ने ये आदेश जारी किया है। नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू से सांसद चुने गए शरद यादव को पार्टी विरोधी गतिविधियों के लिए 2017 में ही राज्यसभा सदस्यता के अयोग्य ठहरा दिया गया था। तब से अब तक शरद यादव हाई कोर्ट के एक अंतरिम आदेश के सहारे केंद्रीय मंत्रियों को मिलने वाले बंगले 7, तुगलक रोड में जमे हैं। हाई कोर्ट ने 15 मार्च को इस आदेश को वापस ले लिया। हाई कोर्ट के आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट पहुंचे शरद ने दलील दी है कि राज्यसभा से बाहर किए जाने के खिलाफ उनकी याचिका अभी भी हाई कोर्ट में लंबित है। इस पर 25 अप्रैल को सुनवाई है। उनका कार्यकाल जुलाई में समाप्त हो रहा है। तब तक उन्हें आवास से नहीं निकाला जाना चाहिए। 28 मार्च को शरद यादव की तरफ से कोर्ट में पेश वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने कहा, “उनकी तबीयत बहुत खराब है। हर दूसरे दिन उनकी डायलिसिस होती है। कोविड के चलते 22 दिन वेंटिलेटर पर भी रहना पड़ा था।
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शरद यादव को दिल्ली का सरकारी बंगला खाली करने के लिए इस तारीख तक दिया समय