श्रीनगर । जम्मू-कश्मीर में कश्मीरी पंडित की सुरक्षा को लेकर चल रही कवायद के तहत अब उनको को सुरक्षित जिले में तैनात किया जाएगा। मनोज सिन्हा ने पीपुल्स एलायंस फॉर गुप्कर डिक्लेरेशन (पीएजीडी) और भाजपा प्रतिनिधिमंडल को सूचित किया कि घाटी के तहसील मुख्यालयों पर हाल में हुए आतंकवादी हमलों को देखते हुए कश्मीरी पंडित कर्मचारियों की तैनाती सुरक्षित जिलों में की जाएगी। आपको बता दें कि गत 12 मई को आतंकवादियों ने बडगाम जिले की चाडूरा तहसील कार्यालय में घुसकर कश्मीरी पंडित कर्मचारी राहुल भट की गोली मारकर हत्या कर दी थी। इस घटना के बाद कश्मीरी पंडितों ने जम्मू-कश्मीर में उग्र विरोध प्रदर्शन किया था और सरकार से मांग की थी कि गवर्नमेंट जॉब करने वाले उनके समुदाय के सदस्यों का ट्रांसफर घाटी से जम्मू में किया जाए। उन्होंने ऐसा नहीं करने पर सामूहित इस्तीफे की चेतावनी दी थी।
जम्मू-कश्मीर की प्रमुख राजनीतिक पार्टियों के साझा मंच ‘गुपकर घोषणापत्र गठबंधन’ या पीपुल्स अलायंस फॉर गुप्कर डिक्लेरेशन (पीएजीडी) ने रविवार को कश्मीरी पंडित कर्मचारियों से अपील की कि वे घाटी छोड़कर न जाएं। गठबंधन ने कहा कि कश्मीर उनका घर है और यहां से उनका जाना ‘सभी के लिए पीड़ादायक होगा।’ एक रिपोर्ट के मुताबिक, बडगाम में आतंकवादियों द्वारा राहुल भट की टारगेट किलिंग के विरोध में 350 से अधिक कश्मीरी पंडित कर्मचारियों ने इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद उपराज्यपाल मनोज सिन्हा की ओर से उनके ट्रांसफर को लेकर आश्वासन दिया गया है। पीएजीडी नेताओं, फारूक अब्दुल्ला, महबूबा मुफ्ती, सीपीआई (एम) के एम वाई तारिगामी, नेकां सांसद हसनैन मसूदी और अवामी नेशनल कॉन्फ्रेंस के वरिष्ठ उपाध्यक्ष मुजफ्फर शाह के साथ बैठक के दौरान, उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सूचित किया कि सुरक्षा बलों को टारगेट किलिंग के खिलाफ कार्रवाई करने की पूरी आजादी दी गई है और कहा कि आतंकवादियों को सहायता और उकसाने वालों को बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने प्रतिनिधिमंडल को बताया कि सभी पीएम पैकेज कर्मचारियों को सुरक्षित जिला और तहसील मुख्यालयों में स्थानांतरित किया जाएगा और अन्य मुद्दों के समाधान के लिए एलजी सचिवालय में एक विशेष सेल का गठन किया गया है।
मनोज सिन्हा ने जम्मू-कश्मीर के भाजपा अध्यक्ष रविंदर रैना और महासचिव (संगठन) अशोक कौल के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल से भी मुलाकात की। भाजपा प्रतिनिधिमंडल ने एलजी को ज्ञापन सौंपा और पीएम पैकेज कर्मचारियों से संबंधित मांगों पर कार्रवाई की अपील की। भाजपा नेताओं ने सिन्हा से पीएम पैकेज कर्मचारियों की पदोन्नति संबंधी शिकायतों पर गौर करने का अनुरोध किया। पीएजीडी के प्रवक्ता एमवाई तारिगामी ने पत्रकारों से कहा कि घाटी उतना ही कश्मीरी पंडितों का भी है, जितना कश्मीरी मुसलमानों का। उन्होंने कहा, ‘अगर राहुल मारा गया, तो रियाज भी मारा गया। आपको अपना घर छोड़ने की जरूरत नहीं है। यह आपका घर है, यह मेरा घर है। हम इस त्रासदी को एक साथ सहन करेंगे।’
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जम्मू कश्मीर- पीएम पैकेज के तहत सुरक्षित जिले में होगी कश्मीरी पंडितों की तैनाती : एलजी सिन्हा