मुंबई, । हर जगह दीपावली को लेकर इमारतें रोशनी से जगमगा उठते हैं। इसके बावजूद यह देखा गया है कि मुंबई समेत महाराष्ट्र में बिजली की मांग में भारी कमी आई है। मंगलवार, 25 अक्टूबर को, राज्य में बिजली की मांग 14,000 मेगावाट से नीचे और मुंबई में 2,500 मेगावाट से नीचे गिर गई थी। इसकी वजह कुछ कार्यालयों में छुट्टी होने के कारण बिजली की मांग में कमी आने की बात कही जा रही है। बता दें कि मुंबई में बिजली की मांग पिछले हफ्ते 3400 मेगावाट तक पहुंच गई क्योंकि जलवायु में बदलाव जारी है और साथ ही सभी क्षेत्रों में तेजी आने लगी है। गर्मी के बाद पहली बार बिजली की मांग इतने ऊंचे स्तर पर पहुंची। वहीं राज्य की मांग भी 18 हजार 900 मेगावाट तक पहुंच गई थी। मानसून ने अलविदा कह दिया और तापमान गिरना शुरू हो गया। इसका असर बिजली की मांग पर देखने को मिला। मंगलवार को मांग में आश्चर्यजनक गिरावट दर्ज की गई। आर्थिक राजधानी मुंबई की सबसे ज्यादा बिजली की मांग इस गर्मी में 3800 मेगावाट हो गई थी। फिर जुलाई के महीने में यह मांग गिरकर 2500 मेगावाट रह गई। सितंबर 2,800 से 3,000 मेगावाट के बीच मांग के साथ मिलाजुला महीना रहा। इसके बाद इस महीने मुंबई की बिजली की मांग लगातार 3100 मेगावाट के बीच रही। पिछले हफ्ते मांग चार महीने के उच्चतम स्तर पर पहुंच गई। लेकिन मंगलवार दोपहर मुंबई की बिजली मांग घटकर 2348 मेगावाट रह गई। मुंबई में भांडुप से मुलुंड तक के क्षेत्र को छोड़कर, शेष क्षेत्रों की आपूर्ति बेस्ट, टाटा पावर और अडानी बिजली द्वारा की जाती है। इस आपूर्ति के लिए टाटा पावर की 447 मेगावाट पनबिजली, ट्रॉम्बे में 750 मेगावाट की तापीय बिजली और डहाणू में अडानी इलेक्ट्रिसिटी की 500 मेगावाट बिजली चालू है।
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महाराष्ट्र में बिजली की मांग में आई आश्चर्यजनक गिरावट