हवा के प्रदूषण से निजात दिलाने वाला मास्क भी पहुंचा सकता है भारी क्षति : वैज्ञानिक
प्रदूषण के कारण जहरीली होती हवा से मुक्ति ते लिए मॉस्क का इस्तेमाल काफी बढ़ गया है पर यह भी आपके स्वास्थ्य को क्षति पहुंचा सकता है। वायु प्रदूषण का खतरनाक स्तर पूरे उत्तर भारत के लिए परेशानी का सबब बन चुका है। यही वजह है कि दिल्ली-एनसीआर और इससे सटे पंजाब, हरियाणा और चंडीगढ़ में लोगों को सांस लेने में भी तकलीफ का सामना करना पड़ रहा है। पराली जलाने और पटाखों से उठने वाला धुआं वातावरण को काफी नुकसान पहुंचा रहा है। प्रदूषण से बचने के लिए लोग घर से बाहर निकलने से पहले मास्क लगा रहे हैं ताकि बीमारियों से बचा जा सके। बाजार में भी मास्क की बिक्री में तेजी आई है, लेकिन क्या आप जानते हैं कि प्रदूषण से बचने के लिए आप जो मास्क लगा रहे हैं वो आपके लिए कितने नुकसानदायक साबित हो सकते हैं।
मोहाली स्थित इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस एंड रिसर्च के साइंटिस्ट डॉ. सम्राट घोष ने बताया कि, 'प्रदूषण से बचने के लिए लोग जो मास्क लगा रहे हैं वो कुछ समय बाद उनके लिए हानिकारक साबित हो सकते हैं। दरअसल, आमतौर पर इन मास्क में सांस लेने और छोड़ने के लिए केवल एक ही जगह है। यही वजह है कि इस मास्क की वजह से कई बीमारियां हो सकती हैं। मास्क लगाए होने पर जब आप सांस छोड़ते हैं तो मुंह की भाप या कभी कभी थोड़ा बहुत सलाइवा भी इसपर लग जाता है। चूंकि मास्क हर तरह से बंद होता है। इसलिए इसमें बदबू आने लगती है।'
उन्होंने कहा कि कई बार सर्दी जुकाम या खांसी होने पर लोग जब खांसते या खखारते हैं तो बैक्टीरिया मास्क पर इक्कठा हो जाते हैं जोकि काफी हानिकारक होता है। साथ ही जो लोग चश्मे का इस्तेमाल करते हैं वो जब सांस छोड़ते हैं तो भाप ऊपर जाकर चश्मे पर जम जाती है जिससे उन्हें काफी परेशानी भी होती है। इस परेशानी से बचने के लिए डॉ. सम्राट घोष ने एक ख़ास मास्क बनाया है। इस मास्क की खासियत इस मास्क में सांस लेने और छोड़ने के लिए अलग अलग चैंबर बने हुए हैं जिससे इन्फेक्शन का खतरा कम हो जाएगा। उन्होंने इस मास्क को 'स्मार्ट मास्क' नाम दिया है। साथ ही केंद्र सरकार को भी इस मास्क की विशेषताओं के बारे में जानकारी दी है। जिन लोगों को सांस लेने में तकलीफ है उनके लिए ये मास्क काफी बेहतर साबित होगा और इसमें ऑक्सीजन देने की भी सुविधा है।