YUV News Logo
YuvNews
Open in the YuvNews app
OPEN

फ़्लैश न्यूज़

रीजनल

पीएम मोदी की छवि बिगाड़ने के लिए लगाये थे आरोप, माफी मांगे कांग्रेस: राजनाथ

पीएम मोदी की छवि बिगाड़ने के लिए लगाये थे आरोप, माफी मांगे कांग्रेस: राजनाथ

पीएम मोदी की छवि बिगाड़ने के लिए लगाये थे आरोप, माफी मांगे कांग्रेस: राजनाथ  
रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने बृहस्पतिवार को राफेल मामले में सुप्रीम कोर्ट द्वारा पुनर्विचार याचिकाओं को खारिज किये जाने के बाद कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की छवि खराब करने के लिए भ्रष्टाचार के आरोप लगाये और इसके लिए कांग्रेस को माफी मांगनी चाहिए। सुप्रीम कोर्ट ने बृहस्पतिवार को राफेल लड़ाकू विमान सौदे के मामले में नरेंद्र मोदी सरकार को क्लीनचिट दे दी। सुप्रीम कोर्ट ने 14 दिसंबर, 2018 के फैसले पर पुनर्विचार की मांग वाली याचिकाओं को खारिज कर दिया जिसमें कहा था कि 36 राफेल लड़ाकू विमानों की खरीद में निर्णय लेने की प्रक्रिया में संदेह का कोई कारण नहीं है। 
राजनाथ सिंह ने अरुणाचल प्रदेश के तवांग में मैत्री दिवस समारोह में शामिल होते हुए कहा, ‘‘राफेल सौदे में भ्रष्टाचार के आरोप केवल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनकी सरकार की साफ-सुथरी और ईमानदार छवि को खराब करने की कोशिश है। भारत की जनता कांग्रेस के निंदा अभियान तथा आक्षेपों के लिए उन्हें माफ नहीं करेगी। कांग्रेस को लोगों को गुमराह करने के लिए माफी मांगनी चाहिए। तवांग के ग्वालवा सांगयांग ग्यात्सो हाई आल्टीट्यूड स्टेडियम में दो दिन तक मैत्री दिवस मनाया जाएगा। 
   रक्षामंत्री राजनाथ ने कहा कि ‘कुछ राजनीतिक दलों और उनके नेताओं द्वारा राफेल विमान खरीद सौदे में लगाये गये आरोप अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण, अवांछित और दुर्भावना से भरे थे। कोर्ट के फैसले ने अंतत: ऐसे नेताओं को उल्टे सीधे आरोप लगाते समय सावधानी बरतने के लिए चेताया है। राजनाथ सिंह ने कहा कि राफेल विमानों को पूरी तरह पारदर्शी तरीके से खरीदा गया और इसमें भारत की रक्षा संबंधी तैयारियों को उन्नत करने की तत्काल आवश्यकता को ध्यान में रखा गया। उन्होंने कहा कि रक्षा तैयारियों और राष्ट्रीय सुरक्षा से संबंधित मुद्दों पर कभी राजनीति नहीं होनी चाहिए। मैं राफेल मामले में पुनर्विचार याचिकाओं को स्पष्ट तौर पर खारिज करने के उच्चतम न्यायालय के फैसले का तहेदिल से स्वागत करता हूं और इस फैसले के साथ ही राजग सरकार का रुख साबित हो जाता है। शीर्ष अदालत का फैसला निर्णय लेने में हमारी सरकार की पारदर्शिता पर भी फैसला है।
 

Related Posts